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"मित्रसंग्रहेण बलं सम्पद्यते"

वैदिक कर्मकाण्ड

श्री प्रिंस द्रिवेदी जी | Contact Number: 7318489898

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गायत्री जाप (Online)

ॐ भूर् भुवः स्वः तत् सवितुर्वरेण्यं।
भर्गो देवस्य धीमहि धियो यो नः प्रचोदयात् ॥

100000 आचार्य
अनुष्ठान व्यय:- ₹ 12,0000/-

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पितृ गायत्री जाप (Online)

ॐ देवताभ्यः पितृभ्यश्च महायोगिभ्य एव च ।
नमः स्वाहायै स्वाधायै नित्यमेव नमो नमः ॥

5 आचार्य
अनुष्ठान व्यय:- ₹ 35,000/-

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पिण्डदान तर्पण (Online)

ॐ पितृगणाय विद्महे जगत धारिणी धीमहि तन्नो पितृो प्रचोदयात्।
ॐ देवताभ्य: पितृभ्यश्च महायोगिभ्य एव च।
नम: स्वाहायै स्वधायै नित्यमेव नमो नम:।
ॐ आद्य-भूताय विद्महे सर्व-सेव्याय धीमहि।

3 आचार्य
अनुष्ठान व्यय:- ₹ 5,500/-

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सुंदरकाण्ड पाठ संगीतमय (Online)

सुंदरकांड के पाठ में बजरंगबली की कृपा बहुत ही जल्द प्राप्त हो जाती है. जो लोग नियमित रूप से सुंदरकांड का पाठ करते हैं, उनके सभी दुख दूर हो जाते हैं. इसमें हनुमानजी ने अपनी बुद्धि और बल से सीता की खोज की है. इसी वजह से सुंदरकांड को हनुमानजी की सफलता के लिए याद किया जाता है।

4 आचार्य
अनुष्ठान व्यय:- ₹ 2,500/-

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